फिट इंडिया कैंपेन की शुरुआत आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय खेल दिवस के मौके पर की 


नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय खेल दिवस के मौके पर फिट इंडिया मूवमेंटकी शुरुआत की। उन्होंने कहा कि आज ही के दिन हमें मेजर ध्यानचंद के रूप में हॉकी के जादूगर मिले थे। मैं उन्हें नमन करता हूं।



फिट इंडिया मूवमेंट हेल्दी इंडिया की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय खेल दिवस के मौके पर इस की शुरुआत की तथा खेल मंत्रालय और युवा विभाग को बधाई देता हूं, उन्होंने कहा कि आज ही के दिन हमें मेजर ध्यानचंद के रूप में हॉकी के जादूगर मिले थे। मैं उन्हें नमन करता हूं। मोदी जी ने कहाँ मुझे फिटनेस के लिए भाषण देने की जरूरत ही नहीं है। बॉडी फिट है तो माइंड हिट है। फिटनेस के लिए इन्वेस्टमेंट तो जीरो है लेकिन इसमें रिटर्न 100% है।


इस अभियान का मकसद लोगों को फिट रहने के लिए जागरूक बनाना है। फिट इंडिया कैंपेनमें उद्योग जगत, फिल्मी जगत, खेल जगत के अलावा अन्य अनेक हस्तियां शामिल हुईं।। मोदी ने हाल ही में 'मन की बात' में इस अभियान का जिक्र किया था।


'स्वस्थ रहने से सभी कार्य सिद्ध होते हैं'
मोदी ने कहा, ''फिटनेस एक जन आंदोलन बनना चाहिए। बैडमिंटन, कुश्ती समेत सभी खेलों में हमारे खिलाड़ी उम्मीदों को नए पंख लगा रहे हैं। ये नए भारत के आत्मविश्वास का पैमाना है। खेलों के प्रति बेहतर माहौल बनाने के लिए जो प्रयास हुए उसका लाभ मिलता दिखाई दे रहा है।''


''फिटनेस एक शब्द नहीं, बल्कि स्वस्थ और समृद्ध जीवन की एक जरूरत है। हमारी संस्कृति में फिटनेस पर जोर दिया गया है। यह हमारे जीवन का सहज हिस्सा रही है। हमारे पूर्वजों ने कहा है कि व्यायाम से ही स्वास्थ्य, लंबी आयु और सुख मिलता है। स्वस्थ रहने से सभी कार्य सिद्ध होते हैं, अब सुनने को मिलता है कि स्वार्थ से ही सभी कार्य सिद्ध होते हैं। इसलिए स्वार्थ से स्वस्थ के भाव का कार्य जरूरी हो गया है।


लक्ष्य से जीवन संतुलित हो जाता है
मोदी ने कहा, ''दुनियाभर में ऐसे अभियानों में इसकी जरूरत महसूस की जा रही है। पड़ोसी चीन भी हेल्दी चाइना 2030 पर काम कर रहा है। ऑस्ट्रेलिया ने 2030 तक 15% लोगों को आलस्य से निकालने का लक्ष्य रखा है। अमेरिका 1000 शहरों को फिटनेस से जोड़ने पर काम कर रहा है। ब्रिटेन और जर्मनी भी फिटनेस की जरूरतों को समझ रहा है। कई देश पहले से इस पर काम कर रहे हैं। नए भारत का हर नागरिक फिट रहे, तभी देश आगे बढ़ेगा। मजबूत लक्ष्य तय करने पर दिनचर्या वैसी बन जाती है। अगर कोई पैदल चलने और स्वास्थ्य को लेकर जागरूक है तो ड्रग्स से दूर रहेगा। स्वामी विवेकानंद कहते थे कि जीवन में कोई लक्ष्य हो तो जीवन संतुलित हो जाता है।''


''सफलता और फिटनेस एक-दूसरे से जुड़ी हुई हैं। स्पोर्ट्स, बिजनेस और फिल्म सभी सेक्टर में जो फिट है, वही शिखर पर है। बॉडी फिट है तो माइंड हिट है। हम अपने शरीर और ताकत के बारे में बहुत कम जानते हैं। फिटनेस से उन्हें अपनी ताकत का पता चला है। इसमें इन्वेस्टमेंट जीरो है, लेकिन रिटर्न 100% है। अभियान देश के हर जिले और गांव तक पहुंचना चाहिए। किसी दल या सरकार को इसमें कोई समस्या नहीं होनी चाहिए।''


मूवमेंट के लिए अलग सचिवालय बनाने का प्रस्ताव


खेल मंत्रालय के प्रस्ताव के मुताबिक, अभियान का पहला साल शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य पर केंद्रित रहेगा। दूसरे साल में पौष्टिक भोजन और खाने की आदतों पर ध्यान दिया जाएगा। जबकि अभियान के तीसरे साल में टिकाऊ और पर्यावरण के अनुकूल जीवनशैली अपनाने पर जोर दिया जाएगा। चौथा साल स्वस्थ जीवन शैली की आदतें, स्वास्थ्य के अनुकूल चीजें और सेवाओं को आदत में शामिल करने पर केंद्रित रहेगा। फिट इंडिया मूवमेंट के लिए अलग से सचिवालय बनाने का प्रस्ताव भी है।


पहले महीने में वॉकथान, साइकिल और चेकअप कैंप से शुरुआत होगी
प्रस्ताव के मुताबिक, अभियान के पहले महीने में देश के सभी शिक्षण संस्थानों में खेल प्रतिभाओं के साथ वॉकथान, साइकिल रैली आयोजित होंगी और चेकअप कैंप लगाए जाएंगे। दूसरे महीने में कस्बा, जिलों में स्कूल और यूनिवर्सिटी में हर स्तर पर खेल इवेंट होंगे। इसमें सभी छात्रों को शारीरिक गतिविधि में शामिल होना जरूरी होगा। तीसरे महीने में सोशल मीडिया के जरिए फिटनेस क्लब बनाने के लिए प्रेरित किया जाएगा, ताकि वे हर हफ्ते शारीरिक गतिविधियों में परिवार और दोस्तों को शामिल कर सकें। चौथे महीने में खेल मैदानों को तैयार करने पर काम होगा।